Saturday, February 13, 2010

Parda

वो परदे में थीं जब हमने प्यार का इज़हार किया....

बस उसके सांसों की खुशबू चारों ओर तो मैं जी रहा था ....

जी रहा था तब तक जब तक न पर्दा उठा था ....

जब उठाया पर्दा उसने चेहरे से अपने, था कौन जिंदा वहाँ ....

मैं तो उसके प्यार में कब का मर चुका था ....

1 comment:

fatima shah said...

se kaha se maara hai??